Breaking News
रविवार 4 सितम्बर को रत्न टाटा के उतराधिकारी व कारोबारी क्षेत्र के मशहूर उद्योगपति "साइरस मिस्त्री" के निधन ने पुरे देश में भूचाल पैदा कर दिया | साइरस मिस्त्री की मौत सड़क हादसे में हुई | वे अहमदाबाद से मुंबई आ रहे थे , पालघर के पास उनकी कार डिवाइडर से टकराई जिससे कार अपनी गति खोती हुई 2 लोगो को मृत्यु की चपेट में ले लिया |
दुर्घटना के बाद इन्हें कासा के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया जहाँ डॉक्टर ने जाँच के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया | जानकारी के आधार पर कासा अस्पताल के डॉक्टर शुभम सिंह ने बताया कि - 2 मरीज को पहले लाया गया जिसमे एक साइरस मिस्त्री थे और एक जहाँगीर दिनशा पंडोल थे | दिनशा पंडोल मौके पर जीवित थे परन्तु उनकी मौत ट्रांजिट के दौरान हो गई | शाम 5 बजे उन्हें मृत घोषित किया गया |
साइरस मिस्त्री के एम्बुलेंस आने के 10 मिनट के अन्तराल पर दूसरी एम्बुलेंस भी अस्पताल आई जिसमे अनाहिता पंडोले और उनके पति डेरियस पंडोले घायल अवस्था में थे | दोनों पूर्ण रूप से चोटिल थे , प्राथमिक उपचार करने के बाद उन्हें हायर सेंटर में शिफ्ट कर दिया गया | बाद में उनके परिजन रेनबो अस्पताल ले गए जहाँ से उन्हें एयरलिफ्ट कर के मुंबई ले जाया गया |
साइरस मिस्त्री के सिर पर चोट आई थी , वहीं जहाँगीर दिनशा के सिर पर भी चोट आई थी और उनका बायाँ पैर फ्रेक्चर था | इन दोनों का पोस्टमार्टम यहीं होना था परन्तु जिला कलेक्टर व जिला एसपी के फोन आने के बाद विशेषज्ञ की राय के लिए इनके मृत शरीर को जे जे अस्पताल शिफ्ट किये जाने की बात सामने आई | गाड़ी में ये चार लोग सवार थे और अनाहिता पंडोले हीं गाड़ी ड्राइव कर रही थी | अभी ये घायल अवस्था में दर्द से जूझ रही हैं , मगर संभावना है ये दोनों दम्पति ने मौत को मात दे दिया |
एसपी ने घटना स्थल की विस्तृत जांच के लिए अपने हाथ आगे बढ़ाये हैं , वहीं DCM ने भी विस्तृत जांच के आदेश देते हुए इस घटना की प्रक्रिया पर निगरानी व निर्देश बरतने का आदेश दिया है | फिलहाल सायरस मिस्त्री की कहानी अधूरी रह गई है क्यूंकि अभी तो वे 54 वर्ष के थे , कई इतिहास लिखना बाकी था |
इनकी बहन की शादी रत्न टाटा के सौतेले भाई नोएल टाटा से हुई है | इन्होने लन्दन के इम्पीरियल कॉलेज से इंजीनियरिंग की डिग्री प्राप्त की और बिजनेस स्कूल से मनेजमेंट में भी मास्टर्स डिग्री हासिल कर अपने जीनियस होने का मुहर लगाते हुए टाटा पॉवर लिमिटेड और इन्डियन होटल्स कंपनी लिमिटेड में भी अध्यक्ष बनाये गए |
इनका जन्म 4 जुलाई 1968 को सपनों की नगरी मुंबई में हुआ था | कहा जाता है - कोई चांदी की चम्मच लेकर पैदा होता है तो कोई सोने की चम्मच लेकर | क्यूंकि बहुत से युवाओं के हाथ संघर्ष के बाद भी सितारो तक नहीं पहुँच पाते , वहीं कुछ को मंजिल मिलती है और कुछ लोग ऊपर से हीं किस्मत लिखवाकर धरती पर जन्म लेते हैं जिसमे से एक सायरस मिस्त्री थे |
2011 में रत्न टाटा के उतराधिकारी के तौर पर उनका चुनाव हुआ | टाटा के इतिहास में दूसरी बार किसी गैर टाटा सरनेम वाले व्यक्ति को कंपनी का चेयरमैन बनाया गया जो किस्मत की बात थी | इससे पहले वो प्रमुख कारोबारी शपूरजी पलोंजी मिस्त्री कम्पनी से जुड़े थे | इनकी पारखी नज़रे बिजनेस के हर रहस्य के समुन्द्र में डूबकी लगाकर परिपूर्ण हुआ था | ये टाटा समूह के छठे चेयरमैन के रूप में चुने गए थे | इनके पिता पलोंजी मिस्त्री भारत के सबसे अमीर व्यक्ति में मशहूर एक नाम था |
इनकी पत्नी का नाम रोहिका छागला है , देश के विख्यात वकील इकबाल छागला की यह लड़की है | ये दोनों मुंबई के एक बड़े आलिशान बंगले में रहते थे , वहीं लंदन , दुबई , आयरलैण्ड में भी इनका आवास है साथ हीं इनके नाम पर एक शानदार याट भी है | इनके पास आयरलैंड की नागरिकता भी थी | इनकी माँ आयरलैंड से थी | इनके पिता ने आयरलैंड की नागरिकता ली थी | इन्होने भारत में अपने कर्मो को एक आधार दिया और भारत के नागरिक बन गए , क्यूंकि इनका जन्म भारत में हुआ था |
आज ये मृत्यु की गोद में सो चूके हैं | मगर ऐसे लोग मरते नहीं , एक याद बनकर अपने व देश की जनता के दिलो में व विश्व के वे लोग जो इनसे प्यार करते हैं सदैव जिन्दा रहते हैं | भारतवर्ष की तरफ से आपको भावभीनी श्रधांजलि , आप सदैव याद आते रहेंगे | ........... ( न्यूज़ / फीचर :- रुपेश आदित्या , एम० नूपुर की कलम से )
रिपोर्टर