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विश्व हिन्दू परिषद् ने सरकारी स्कूल के प्रिंसपल को सस्पेंड करवाया | थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई और कहा - वह बच्चो से ऐसी प्रार्थना करवा रहे हैं जिससे वे प्रेरित होकर अपने धर्म का परिवर्तन कर सके |
विश्व हिन्दू परिषद् के कार्यकर्ता ने प्रार्थना का विडियो बनाया जो वायरल हो रहा है | यह विडियो उत्तरप्रदेश के बरेली जिले के फरीदपुर मोहल्ला परा के करमा नेहरू कंपोजिट स्कूल का है | इस स्कूल में प्राइमरी व जूनियर हाई स्कूल के बच्चे पढ़ते हैं जिसमे 350 छात्र छात्राएं रजिस्टर्ड है |
जानकारी के आधार पर नगर अध्यक्ष सोमपाल राठौर ने कहा - बजरुद्दीन और नायक सिद्दकी कई माह से दूसरी समुदाय के प्राथना बच्चो से करवाते पाए गए | बच्चो के अभिभावकगण जब इस शिकायत को स्कूल में पहुंचाते तो बच्चो के नाम काटने की उन्हें धमकी मिलती |
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विडियो बनाने के बाद कार्यकर्ताओं ने थाने का घेराव किया | पुलिस को विडियो दिखाकर मुक़दमा दर्ज कराया | पुलिस ने साक्ष्य को देखते हुए कार्यकर्ताओं की बात पर गौर कर मामला तो दर्ज कर लिया और जांच जारी है |
फिलहाल प्रिंसपल नायक सिद्दकी तो छुट्टी पर है | वहीं सीनियर टीचर कमलेश कुमारी के हाथ प्रभारी प्रिंसिपल की जिम्मेदारी सौंपी गई है | उन्होंने कहा कि हमारे यहाँ "यह शक्ति हमें दो दयानिधि ..........." प्रार्थना होती है | यह सुबह नहीं दोपहर की बात है जो विडियो में दर्ज की गई है | यह प्रार्थना 1 से 5 वीं क्लास की उर्दू की किताब में है जिसे बच्चे दोहरा रहे थे |
अब हम बात कर ले कविता "लव पे आती है दुआ" यह इकबाल की नज्म या कविता है जिसका "अर्थ मेरे अल्लाह मुझे बुराई से बचाना" | अब इसी मुद्दे को लेकर बेसिक शिक्षा अधिकारी ने नायक सिद्दकी को सस्पेंड कर दिया और शिक्षा मित्र बजरुद्दीन पर जांच बैठाई |
शिक्षा अधिकारी विनय कुमार ने बताया कि - वायरल विडियो की जांच कराई जा रही है | नायक सिद्दकी छुट्टी पर है , लौटते हीं उनसे पूछताछ की जायेगी |
हिन्दू - मुस्लिम - सिख - इसाई इन्ही पर टिका है भारत की मजबूती | इसे ध्यान में रखना निहायत जरुरी है | ईश्वर हो या अल्लाह दोनों एक है क्यूंकि सूर्य और चन्द्रमा की रौशनी को इंसान बाँट नहीं सकता सिर्फ छांट सकता है अपनी सोंच को गति देकर | चूकि यहाँ सवाल स्कूल का है और बच्चे का मन एक मिट्टी जैसे होता है , जैसे ढालेंगे , ढल जायेंगे | मगर सवाल यह है - इन्हें रोका कैसे जाए ? क्या सस्पेंड करके !
टीचर्स या प्रिंसपल कहाँ गलती कर रहे थे ? जो किताब में है बच्चे उसे दोहरा रहे थे | अब निर्णय की बात सामने आएगी तो विडियो के साथ साथ वह किताब भी थाने में दर्ज किया जाएगा |अंतिम निर्णय कोर्ट का होगा |
फिलहाल हम यहाँ एक बात कहना चाहेंगे कि - मुस्लिम महिला फ़रमानी नाज़ ने हर - हर शम्भू गाया और इसी गाने से वह मशहूर हो गई | हरिद्वार से लेकर कन्याकुमारी तक इन्होने दौरा किया | मुस्लिम समुदाय के लोग इस दौर को रोकने के लिए सामने आये जिसे फ़रमानी ने अकेले झेला | बहुतो का साथ उन्हें मिला मगर उनका दिल है कि वह हर हर शम्भू .......... गायेंगी तो उन्हें गाने दीजिये , दिल पर अंकुश मत लगाइए | ......... ( न्यूज़ / फीचर :- भव्याश्री डेस्क )
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